कोटद्वार में कांग्रेस की ओर से कराए गए बंद का मिला-जुला असर देखने को मिला है। सुबह सामान्य दिनों के समान दुकानें खोलने का सिलसिला शुरू हुआ। कांग्रेसी जुलूस की शक्ल में बाजार में उतरे और व्यापारियों से दुकाने बंद करने की गुजारिश की, जिसके बाद व्यापारियों ने अपने प्रतिष्ठान बंद कर दिए।
कृषि बिलों को वापस लेने की मांग को लेकर किसानों ने आज भारत बंद का आह्वान किया है। उत्तराखंड में किसानों के इस बंद का मिलाजुला असर देखने को मिल रहा है। कहीं, बाजार बंद हैं, तो कहीं खुले हुए हैं। जगह-जगह छुटमुट प्रदर्शन भी हो रहे हैं। राजनीतिक दल भी किसानों के समर्थन में सड़क पर उतर आए हैं। पौड़ी गढ़वाल जिले के कोटद्वार में बाजार बंद करवाने के लिए कांग्रेसी कार्यकर्ता सड़कों पर उतर आए। हालांकि, सभी जिलों में पुलिस-प्रशासन भी अलर्ट मोड पर है। जिलों को कई जोन और सेक्टर में बांटा गया है।
कोटद्वार में कांग्रेस की ओर से कराए गए बंद का मिला-जुला असर देखने को मिला है। सुबह सामान्य दिनों के समान दुकानें खोलने का सिलसिला शुरू हुआ। इस बीच करीब आठ बजे कांग्रेसी जुलूस की शक्ल में बाजार में उतरे और व्यापारियों से दुकाने बंद करने की गुजारिश की, जिसके बाद व्यापारियों ने अपने प्रतिष्ठान बंद कर दिए।
हालांकि मुख्य बाजार से लगे क्षेत्रों में दुकानें सामान्य दिनों की तरह खुली रही। बस-जीप टैक्सी सेवाएं सामान्य दिनों की तरह चली। पिछले कई दिनों से भारत बंद की चर्चा के चलते बाजार में आमजन कम नजर आया।
सोमवार को कांग्रेस ने व्यापारियों से अपने प्रतिष्ठान बंद रखने का आह्वान किया था, लेकिन सुबह से ही व्यापारियों ने दुकानें खोलने शुरू कर दी। किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए बाजार में सुबह से ही पुलिस बल तैनात हो गया था। बताना जरूरी है कि व्यापार मंडल की ओर से बंद का कोई आह्वान नहीं किया गया है। प्रशासन की ओर से भी स्पष्ट कर दिया गया था कि जबरन बाजार बंद नहीं करवाया जाएगा।
आम आदमी पार्टी किसानों के समर्थन में धरने पर बैठी
कोटद्वार में कांग्रेस की ओर से कराए गए बंद का मिलाजुला असर देखने को मिला। रोज की तरह ही दुकानें खुलने का सिलसिला शुरू हुआ। कांग्रेसी बाजार में उतरे और व्यापारियों से बंद करने की गुजारिश की। वहीं इस बीच आम आदमी पार्टी किसानों के समर्थन में झंडा चौक पर धरने पर बैठी। उन्होंने किसानों के समर्थन में झंडा चौक में नारेबाजी की। किसानों के समर्थन में आम आदमी पार्टी ने इस बिल को काला बिल बताया। आम आदमी पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता अरविंद वर्मा ने कहा कि जब तक सरकार यह काला बिल वापस नहीं ले लेती तब तक आम आदमी पार्टी समय-समय पर धरना प्रदर्शन करती रहेगी।
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